पटना। बिहार ने भारतीय लोकतंत्र के इतिहास में एक नई डिजिटल क्रांति की शुरुआत कर दी है। देश में पहली बार मोबाइल से ई-वोटिंग की सुविधा को जमीनी हकीकत में बदलते हुए, तीन जिलों की 6 नगरपालिका में हुए उपचुनावों में हजारों मतदाताओं ने घर बैठे अपने मताधिकार का प्रयोग किया।

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पूर्वी चंपारण जिले के पकड़ी दयाल की निवासी विभा देवी ने देश की पहली महिला ई-वोटर बनकर इतिहास रच दिया, जबकि मुन्ना कुमार पहले पुरुष ई-वोटर के रूप में वोट डाला। ई-वोटिंग के माध्यम से कुल 67 प्रतिशत लोगों ने अपने मातधिकार का प्रयोग किया।
बक्सर जिले की प्रेमावती देवी, जो उम्र के कारण पहले मतदान केंद्र नहीं जा पाती थीं, उन्होंने भी आज मोबाइल से पहली बार वोट डालकर गर्व महसूस कर रही हैं। उन्होंने कहा कि “मोबाइल से वोट डालना आसान नहीं था, पर बच्चों ने सिखाया और मैंने घर बैठे ही लोकतंत्र में हिस्सा ले लिया।
ई-वोटिंग सुबह 7 बजे से दोपहर 1 बजे तक हुई। 67 प्रतिशत ई-वोटर्स ने मतदान में हिस्सा लिया। 80 साल या उससे अधिक उम्र के बुजुर्ग, गर्भवती महिलाएं, दिव्यांग, असाध्य रोग से पीड़ित और प्रवासी बिहारियों को ई- मतदान का मौका दिया गया। बिहार निर्वाचन आयोग के अनुसार यह एक पायलट प्रोजेक्ट है, जिसकी सफलता पूरे देश में ई-वोटिंग प्रणाली के विस्तार की संभावनाएं खोल सकती है। नगर पंतायत के लिए हुए मतदान के नतीजे 30 जून को घोषित किए जाएंगे।
बिहार राज्य चुनाव आयुक्त दीपक प्रसाद ने बताया कि 80 साल से अधिक उम्र के बुजुर्ग, दिव्यांग, गर्भवती महिला, असाध्य रोगों से ग्रसित व्यक्ति और प्रवासी बिहारी मतदाता मोबाइल के जरिए ई-वोटिंग प्रक्रिया का लाभ उठा सकते हैं। हालांकि, इसके लिए पहले ही रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होता है।


