पटना। बिहार सरकार ने गैर-पारंपरिक ऊर्जा, विशेष रूप से सौर ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा देने के उद्देश्य से राज्य के 58.89 लाख कुटीर ज्योति (केजे) (बीपीएल) उपभोक्ताओं के लिए “रूफटॉप सोलर पैनल” निःशुल्क लगाने का निर्णय लिया है।
सरकार कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं के अलावा, रूफटॉप पैनल लगाने के इच्छुक सभी घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को भी सहायता प्रदान करेगी।
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राज्य के कुल 1.89 करोड़ घरेलू उपभोक्ताओं में से केजे उपभोक्ताओं की संख्या घटाने के बाद, वर्तमान में राज्य में 1.30 करोड़ उपभोक्ता ऐसे हैं, जिन्हें राज्य सरकार की इस योजना के तहत रूफटॉप पैनल लगाने के लिए सहायता मिलेगी। इस कदम से उपभोक्ता अपनी खपत के लिए ऊर्जा प्राप्त करने में आत्मनिर्भर बनेंगे।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने हाल ही में आयोजित एक विशाल वर्चुअल आउटरीच कार्यक्रम के दौरान महिला उपभोक्ताओं सहित अन्य बिजली उपभोक्ताओं से बातचीत करते हुए कहा था, ” राज्य सरकार, राज्य में सौर ऊर्जा के उपयोग को बढ़ावा दे रही है। परिणामस्वरूप, सभी सरकारी भवनों पर सौर ऊर्जा पैनल लगाए गए हैं। अब, हमने अपने भवनों पर रूफटॉप पैनल लगाने के इच्छुक सभी घरेलू बिजली उपभोक्ताओं को सौर ऊर्जा (योजना) की सहायता का लाभ देने का निर्णय लिया है।”
पिछले महीने राज्य के बिजली उपभोक्ताओं को 125 यूनिट मुफ्त बिजली देने के राज्य मंत्रिमंडल के फैसले की घोषणा करते हुए, ऊर्जा मंत्री बिजेंद्र प्रसाद यादव ने हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने पर जोर दिया था। उन्होंने कहा था कि सरकार का ध्यान पारंपरिक ऊर्जा के उपयोग को कम करने और गैर-पारंपरिक ऊर्जा, विशेष रूप से सौर ऊर्जा के उपयोग को बढ़ाने पर है।
ऊर्जा विभाग के सचिव और बिहार राज्य पावर होल्डिंग कंपनी लमिटेड (बीएसपीएचसीएल) के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक (सीएमडी) मनोज कुमार सिंह ने बताया कि बिहार सरकार ने केजे उपभोक्ताओं के लिए 1.1 किलोवाट क्षमता के रूफटॉप सोलर पैनल लगाने का फैसला किया है। सरकार 58.89 लाख कुटीर ज्योति बिजली उपभोक्ताओं (बीपीएल) को रूफटॉप सोलर पैनल लगाने के लिए शत-प्रतिशत सब्सिडी देगी। इसके अलावा, 1.30 करोड़ अन्य उपभोक्ताओं को भी इस उद्देश्य के लिए सब्सिडी प्रदान की जाएगी।
मनोज सिंह ने बताया कि प्रत्येक कुटीर ज्योति (केजे) (बीपीएल) उपभोक्ता के लिए 1 किलोवाट रूफटॉप सोलर पैनल लगाने की लागत 60,000 रुपये होगी। “प्रधानमंत्री सूर्य गृह योजना” के तहत एक उपभोक्ता को 33,000 रुपये की सब्सिडी मिलेगी, जबकि शेष 27,000 रुपये राज्य सरकार द्वारा वहन किए जाएंगे, इस प्रकार केजे उपभोक्ताओं को 100 प्रतिशत सब्सिडी प्रदान की जाएगी। उन्होंने बताया कि सभी 58.89 लाख कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं के लिए रूफटॉप सोलर पैनल लगाने पर 16,000 करोड़ रुपये की लागत आएगी।
ऊर्जा विभाग के सचिव ने कहा कि 16,000 करोड़ रुपये की यह राशि दो वर्षों में पूरी हो जाएगी। क्योंकि सरकार कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं को हर साल 8000 करोड़ रुपये देती है। इसलिए विभाग दो वर्षों की सब्सिडी राशि से ही यह खर्च पूरा करेगा और इसलिए उसे इस उद्देश्य के लिए अतिरिक्त धनराशि की व्यवस्था नहीं करनी पड़ेगी।
उल्लेखनीय है कि राज्य में हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ने अक्टूबर 2019 में शुरू किए गए जल-जीवन-हरियाली मिशन कार्यक्रम के तहत ग्रिड से जुड़े सौर ऊर्जा संयंत्र लगाने का निर्णय लिया। अब तक राज्य में 12,000 से अधिक सरकारी भवनों/प्रतिष्ठानों में सौर ऊर्जा संयंत्र/पैनल लगाए जा चुके हैं।