Kishanganj: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) के खिलाफ किशनगंज व्यवहार न्यायालय में गुरुवार को परिवाद दायर किया गया है। साथ ही शेरशाह वादी समुदाय के एक शिष्टमंडल ने डीएम श्रीकांत शास्त्री को ज्ञापन सौंप कर पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
दरअसल बीते दिनों दो दिवसीय दौरे पर किशनगंज पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री ने शेरशाह वादी समुदाय को लेकर यह एक बयान दिया था की शेरशाह वादी समुदाय के लोग किशनगंज में जबरन एससी/एसटी की जमीन पर कब्जा कर रहे हैं। जिसके बाद से ही शेरशाह वादी समुदाय के लोगो में आक्रोश व्याप्त था और आज व्यवहार न्यायालय में जहा परिवाद दायर किया गया वही डीएम को भी ज्ञापन सौंप कर कार्रवाई की मांग की गई।
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एसोसिएशन के नेता अब्दुर रहमान ने कहा कि जीतन राम मांझी ने हमारी भावनाओं को ठेस पहुंचाने का कार्य किया है। इसके लिए उनपर सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए। वही उन्होंने स्थानीय सांसद और विधायक को भी आड़े हाथों लिया है।
अब्दुल रहमान ने कहा कि हम लोग मेहनत कस लोग है और इस तरह का बयान देना अशोभनीय है। उन्होंने कहा कि हमारी मांग है कि जीतन राम मांझी को गिरफ्तार किया जाए।अधिवक्ता मो. नुरुल हुदा ने कहा कि शेरशाह वादी ऑल एसोसिएशन के सचिव की ओर से नालिसी वाद दायर किया गया है। उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी और जिलाध्यक्ष डा. शाहजहा के खिलाफ धारा 295ए,153ए एवं 500 डिफॉर्मेशन के तहत वाद दायर किया गया है।