नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव(LokSabha Election 2024) से पहले कांग्रेस और आरजेडी(RJD) को एक बड़ा झटका लगा है। कांग्रेस प्रवक्ता गौरव वल्लभ और बिहार कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अनिल शर्मा ने कांग्रेस छोड़ भाजपा(BJP) का दामन थाम लिया है। इन दोनों नेताओं के अलावा RJD नेता व पूर्व लोकसभा उम्मीदवार उपेंद्र प्रसाद ने भी BJP का दामन थामा है। BJP के राष्ट्रीय महासचिव विनोद तावड़े और संजय मयूख की मौजूदगी में तीनों नेताओं ने पार्टी मुख्यालय में भाजपा की सदस्यता ग्रहण की।
वहीं अवसर पर विनोद तावड़े ने कहा कि, गौरव वल्लभ कांग्रेस के पिछले 10 वर्षों से प्रवक्ता रहे हैं। बिहार में कांग्रेस अपनी पार्टी को खुद ही खत्म करने पर तुली है, कांग्रेस आलाकमान बिहार प्रदेश पर जिस तरह से अपने फैसले थोप रही है, उससे कांग्रेसी नेता दुखी हैं। वहीं उपेंद्र प्रसाद भी अपने इलाके के मजबूत नेता हैं। इन तीनों नेताओ के पार्टी में आने से हमारी पार्टी को बल मिलेगा और विश्वास है कि इनकी क्षमता का सदुपयोग करते हुए पार्टी विकसित भारत की दिशा में और मजबूती से काम करेगी।
BJP में शामिल होने के बाद गौरव वल्लभ ने कहा कि, वह अपने पत्र में अपनी वेदना और व्यथा लिख चुके हैं। राममंदिर के शिलान्यास कार्यक्रम के न्योते को ठुकराने से वह दुखी हैं, दिन भर वह वेल्थ क्रिएटर्स(Wealth Creators) की आलोचना नहीं कर सकते और न ही कांग्रेस की तरह सनातन धर्म का अपमान कर सकते हैं। उन्हें अपनी क्षमता का सदुपयोग भारत देश को आगे ले जाने के लिए करना चाहते हैं, इसलिए उन्होंने BJP में शामिल होने का फैसला किया।
BJP में शामिल होने के बाद अनिल शर्मा ने भी कहा कि, सोनिया गांधी और मल्लिकार्जुन खरगे, दोनों ही नेता घोर साम्प्रदायिक नजरिया रखते हैं। सोनिया राम मंदिर के शिलान्यास कार्यक्रम के न्योते को ठुकरा देती हैं, लेकिन ईसाई धर्म के कार्यक्रम के लिए पार्टी के दो बड़े नेताओं को इटली भेजती हैं।
वहीं उपेंद्र प्रसाद ने भी BJP में शामिल होने के बाद लालू यादव पर भ्रष्टाचार और परिवारवाद का आरोप लगाते हुए कहा कि, पिछले चुनाव में वह महागठबंधन के उम्मीदवार के तौर पर चुनाव(election) लड़े थे, जिसमें सबसे कम अंतर से हारने वालो में बिहार में वह तीसरे नंबर पर थे। लेकिन इस बार चुनाव में उन्हें टिकट देने के लिए पैसे मांगे गए।