Dehradun। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रभु श्रीराम का उत्तराखंड से अटूट नाता रहा है। भगवान श्रीराम के पिता और महाराज दशरथ (Maharaj Dasharatha) ने संतान प्राप्ति के लिए जिस सरयू नदी के किनारे अनुष्ठान किया था, उस सरयू नदी का उद्गम स्थल बागेश्वर जिले में है। लंका दहन के बाद जब वे अयोध्या लौटे और मर्यादा पुरुषोत्तम राजा रामचंद्र बने, तब उन्होंने देवप्रयाग के रघुनाथ मंदिर में पितृ यज्ञ किया था।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (Chief Minister Pushkar Singh Dhami) ने शनिवार को हल्द्वानी में आयोजित रामोत्सव कार्यक्रम में यह बातें कहीं। मुख्यमंत्री ने कहा कि राम देश की आत्मा हैं। यह हमारे लिए गर्व की बात है कि अयोध्या में आजकल रामलीला का मंचन हो रहा है ,वह देवभूमि के कलाकारों द्वारा किया जा रहा है। स्वयं उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ स्वीकार कर चुके हैं कि देश की सर्वश्रेष्ठ रामलीला उत्तराखंड की है।
प्रभु श्रीराम हमारे आदर्श हैं –
मुख्यमंत्री धामी (Chief Minister Pushkar Singh Dhami) ने कहा कि भगवान श्रीराम की महिमा अपरंपार है, राम महर्षि वाल्मीकि (Ram Maharishi Valmiki) के भी हैं, राम केवट के भी हैं, राम शबरी के भी हैं, राम निषादराज के भी ,राम विभीषण के भी हैं, राम सुग्रीव और हनुमान के भी हैं। राम आपके भी हैं, राम हमारे भी हैं….राम सबके हैं….इसीलिए वे मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम (Maryada Purushottam Lord Ram) हैं। प्रभु श्रीराम हमारे आदर्श हैं, जिनकी सभी लीलाएं मानव जीवन में अनुकरणीय हैं। स्वयं ब्रह्म स्वरूप होते हुए भी उन्होंने मानव रूप में हम सभी के लिए अवतार लिया। सच्चरित्र मनुष्य का जीवन कैसा होना चाहिए, इसका उदाहरण प्रस्तुत किया। भगवान राम के लिए बस यही कह सकता हूं कि राम देश की आत्मा, सम्मान, अभिनन्दन, उपासना है, संवाद और संवेदना है, राम देश के हैं और देश राम का है।
देवभूमि उत्तराखंड को भ्रष्टाचार मुक्त प्रदेश बनाना हमारा लक्ष्य-
मुख्यमंत्री धामी (Chief Minister Pushkar Singh Dhami) ने कहा कि मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम के आदर्शों पर चलकर इस देवभूमि की सेवा करने का जो अवसर हमें मिला है, उस अवसर को हम अपने ‘विकल्प रहित संकल्प’ के साथ पूरा करने के लिए निरन्तर कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि राज्य को सर्वश्रेष्ठ राज्य बनने में भ्रष्टाचार रूपी रावण और नशा रूपी कुंभकर्ण का संहार करना हमारी प्राथमिकता है। युवाओं को नशे की प्रवृत्ति से बचाने के लिए खेल गतिविधियों को विकसित किया जा रहा है। युवाओं के साथ-साथ खेल प्रेमियों के लिए भी खेल गतिविधियों विकसित की जाएंगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी 22 जनवरी को रामलला अयोध्या में विराजमान होने जा रहे हैं और यह ऐसा अवसर है, जिसके लिए हमने वर्षों इंतजार किया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक सौ चालीस करोड़ देशवासियों को रामोत्सव मनाने का सुअवसर प्रदान किया है। उन्होंने सभी से 22 जनवरी को दीप जलाकर भगवान राम का गुणगान कर दीपोत्सव मनाने की अपेक्षा करते हुए कहा कि हमने रामभक्तों की आस्था का ध्यान रखते हुए एक ओर जहां रेल मंत्री से वंदे भारत ट्रेन का संचालन देहरादून से अयोध्याजी के मध्य करने का आग्रह किया है वहीं दूसरी ओर उड्डयन मंत्री से जौलीग्रांट से अयोध्याजी के मध्य हेली सेवा भी शुरू करने की मांग की है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हल्द्वानी और देहरादून से अयोध्याजी के लिए बस का संचालन प्रारंभ किया गया है। ये सब भगवान श्रीराम की ही कृपा है जो वे आज मुख्य सेवक के रूप में प्रदेश की जनता की सेवा करने में समर्थ हो सके हैं। इसी प्रकार आप सभी की सेवा करने की प्रेरणा प्रदान करने के लिये भगवान श्रीराम से मेरी प्रार्थना है।
विश्व भर में दिखती हैं उत्तराखंड की संस्कृति की झलक-
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज सिर्फ भारत में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी उत्तराखंड की संस्कृति की झलक दिखाई देती है। उत्तराखंडियों ने विदेशों में भी अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत और लोक परंपरा को जीवंत रखा हुआ है। उन्होंने कहा कि राम मंदिर आंदोलन के प्रति जागरण परिवार का विशेष योगदान तो रहा ही, राममंदिर और रामभक्तों को उनके द्वारा सहयोग भी दिया है। इसके लिए उन्होंने जागरण परिवार को धन्यवाद भी दिया।
इस अवसर पर विधायक बंशीधर भगत, आयुक्त कुमाऊं दीपक रावत, दैनिक जागरण के सम्पादक आशुतोष सिंह, प्रबंधक राघवेन्द्र चड्ढा सहित अन्य गणमान्य लोग उपस्थित थे।