लखनऊ। उत्तर प्रदेश सरकार प्रधानमंत्री मातृत्व वंदन योजना 2.0 के तहत गर्भवती और धात्री महिलाओं को आर्थिक सहायता प्रदान कर रही है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर इस योजना का क्रियान्वयन तेज़ी से किया जा रहा है, जिससे लाखों महिलाएं लाभान्वित हो रही हैं।
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प्रधानमंत्री मातृत्व वंदन योजना 2.0 से वंचित वर्ग की महिलाओं को आर्थिक संबल मिल रहा है, जिससे वे गर्भावस्था के दौरान सही पोषण और देखभाल प्राप्त कर सकें। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में प्रदेश सरकार इस योजना को और प्रभावी बनाने के लिए लगातार प्रयासरत है।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत सिफ्सा ने 1 जनवरी 2025 को आईसीडीएस विभाग के एसएनए खाते में 275.16 करोड़ हस्तांतरित किए थे। इसके बाद 22 जनवरी 2025 से लाभार्थियों को डीबीटी के माध्यम से सीधे बैंक खातों में राशि भेजने की प्रक्रिया शुरू हुई। अब तक 4,05,379 महिलाओं को कुल 135.31 करोड़ रुपये की धनराशि हस्तांतरित की जा चुकी है। इस योजना के तहत पहले प्रसव पर 5000 रुपये दो किस्तों में और दूसरे प्रसव पर बालिका के जन्म पर 6000 रुपये एकमुश्त प्रदान किए जाते हैं।
योजना के क्रियान्वयन में तेजी लाने के लिए मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने जिलाधिकारियों को सभी लंबित मामलों की समीक्षा कर उन्हें शीघ्र निस्तारित करने के निर्देश दिए हैं। 7 मार्च 2025 तक 31,436 मामले लंबित हैं, जिनमें सुपरवाइजर स्तर पर 23,694 मामले, सीडीपीओ (एसओ) स्तर पर 7,411 मामले और एसएनओ स्तर पर 321 मामले लंबित हैं।
योगी सरकार का लक्ष्य सभी माताओं को सुरक्षित मातृत्व
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में यूपी सरकार प्रधानमंत्री मातृत्व वंदन योजना को जमीनी स्तर पर प्रभावी बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। सरकार की मंशा है कि योजनान्तर्गत हर पात्र महिला को सहायता मिले और कुपोषण को रोका जाए।