पश्चिमी सिंहभूम। पश्चिमी सिंहभूम जिला सिविल सर्जन डॉ. सुशांतो कुमार माझी के निर्देशन एवं प्रखंड विकास पदाधिकारी खूंटपानी धनंजय पाठक की अध्यक्षता में बुधवार को एक दिवसीय तंबाकू निषेध प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में मुखिया, जल सहिया, पेयजल विभाग के कर्मी, स्वयंसेवी संगठनों के सदस्य एवं पंचायत प्रतिनिधि शामिल हुए।
यह भी पढ़े : कैमूर सहित पूरे बिहार में अब कानून का राज है : मुख्यमंत्री
कार्यक्रम का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों को तंबाकू और नशा मुक्त बनाना तथा लोगों को स्वस्थ जीवनशैली अपनाने के लिए प्रेरित करना था। प्रखंड विकास पदाधिकारी धनंजय पाठक ने कहा कि स्वस्थ जीवन के लिए तंबाकू और नशे का परित्याग जरूरी है। वहीं प्रखंड प्रमुख सिद्धार्थ होनहागा ने युवाओं में बढ़ते तंबाकू सेवन पर चिंता जताते हुए इसे सामाजिक बुराई बताया और सभी से नशामुक्त समाज के निर्माण में सहयोग की अपील की।
अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. भारती मिंज ने तंबाकू से होने वाले दुष्प्रभावों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि तंबाकू सेवन से बालों का झड़ना, मोतियाबिंद, दांतों की सड़न, फेफड़ों का कैंसर, दिल की बीमारी, अल्सर, गैंग्रीन और श्वसन रोग जैसे गंभीर बीमारियां हो सकती हैं। साथ ही इससे आर्थिक और सामाजिक नुकसान भी होता है।
जिला यक्ष्मा पदाधिकारी डॉ. आलोक रंजन ने कहा कि तंबाकू सेवन से न सिर्फ स्वयं, बल्कि परिवार और समाज भी प्रभावित होता है। सामाजिक कार्यकर्ता अनूप बागे ने तंबाकू को गंभीर गैर-संचारी रोगों का प्रमुख कारण बताया और कहा कि कोटपा अधिनियम 2003 एवं 2021 के प्रावधानों का पालन कर इसके दुष्प्रभावों को रोका जा सकता है।
इस अवसर पर जिला परामर्शी मुक्ति बिरुआ ने सदर अस्पताल स्थित तंबाकू निवारण केंद्र की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि तंबाकू छोड़ने के इच्छुक लोग अस्पताल में इलाज प्राप्त कर सकते हैं या राष्ट्रीय टोल फ्री नंबर 1800-11-2356 पर संपर्क कर सकते हैं।
कार्यक्रम के अंत में सभी प्रतिभागियों ने तंबाकू का सेवन न करने की शपथ ली। कार्यक्रम में प्रखंड प्रमुख, जिला परिषद सदस्य, पेयजल विभाग के कर्मी, स्वयंसेवी संस्था के प्रतिनिधि, प्रखंड कार्यालय एवं जिला एनसीडी विभाग के कर्मचारी उपस्थित रहे।