Ranchi: विश्वकर्मा पूजा के अवसर पर रविवार 17 सितंबर 2023 को, जो प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) जन्म दिवस भी है, प्रधान मंत्री द्वारा दिल्ली में पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को समग्र सहायता प्रदान करने के लिए ‘प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना’ का शुभारंभ किया गया।
पारंपरिक विश्वकर्मा समाज के सम्मान, सामर्थ्य व समृद्धि के साथ साथ आत्मनिर्भर भारत के निर्माण को बढ़ावा देने वाले इस योजना को देश में एक साथ 70 जगहों से शुरु किया गया।
राँची के आर्यभट्ट सभागार में ‘पीएम विश्वकर्मा योजना’ के शुभारंभ कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें केंद्रीय जनजातीय मामले मंत्री श्री अर्जुन मुंडा (Arjun Munda) मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए।
इस अवसर पर अपने विचार व्यक्त करते हुए अर्जुन मुंडा ने कहा कि “भगवान विश्वकर्मा को ब्रह्मांड के पहले निर्माता और वास्तुकार के रूप में पूजा जाता है। इसी तरह, भारत के कई कारीगर और शिल्पकार, देश को सजाने और सुंदर बनाने के लिए अपने हाथों और उपकरणों का उपयोग करते हैं।
इसलिए, पारंपरिक शिल्पकारों और कारीगरों को लाभ पहुंचाने के लिए हमारे माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आज आधिकारिक तौर पर ‘पीएम विश्वकर्मा योजना’ शुरू की गई। पिछली सरकारें आजादी की लंबी लड़ाई और उस बाद के शासन काल में समाज के इस वर्ग को त्याग दिया था।
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उन्होंने कहा कि हालाँकि, प्रधान मंत्री के अनुसार, प्रत्येक नागरिक को सक्षम, सशक्त और सबसे महत्वपूर्ण रूप से आत्मनिर्भर होना चाहिए। हमारे आदिवासी समुदाय के सदस्यों सहित कई लोग पीएम विश्वकर्मा योजना से लाभान्वित होंगे और अपने जीवन में सफल और प्रगति करने में सक्षम होंगे।कारीगरों और शिल्पकारों के लिए लाई गई पीएम विश्वकर्मा योजना से भारत की अर्थव्यवस्था और मजबूत होगी।
श्री मुंडा ने कहा कि इस योजना का लाभ झारखंड के कारीगरों और शिल्पकारों को भी मिलेगा। यहां के स्थानीय उत्पादों, कला और शिल्प के माध्यम से सदियों पुरानी परंपरा, संस्कृति और विविध विरासत को जीवित और समृद्ध बनाए रखने के लिए लाभदायक होगा। इस योजना में 18 तरीके पारंपरिक व्यवसायों को शामिल किया गया तथा यह योजना आने वाले समय मे हमारे कारीगरों एवं शिल्पकारों को नया आयाम देगा। पूंजी और कौशल के अभाव में, जो लोग अपने रोजगार की शुरुआत नहीं कर पा रहे थे, उनके लिए यह बहुत बड़ा अवसर है।
मोदी सरकार की ‘पीएम विश्वकर्मा योजना’ से कारीगरों के उज्ज्वल भविष्य का निर्माण होगा एवं ‘पीएम विश्वकर्मा योजना’ के कार्यान्वयन के लिए 13,000 करोड़ रुपए के बजट का प्रावधान किया गया है। पीएम विश्वकर्मा योजना का उद्देश्य अंतिम व्यक्ति को सामर्थ्यवान बनाने की है।
इस अवसर पर झारखंड के माननीय श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता, झारखंड के माननीय सांसद गण संजय सेठ, दीपक प्रकाश, विष्णु रामदयाल, सुनील सिंह, सुदर्शन भगत, आदित्य साहू, समीर उरांव एवं विधायक सीपी सिंह तथा समरी लाल की गरिमामय उपस्थिति रही। साथ ही साथ इस योजना के लाभुकों की भी भरी संख्या में उपस्थिति रही।
ग्रामीण विकास मंत्रालय, राज्य सरकार एवं जिला प्रशासन के सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में कई वरिष्ठ अधिकारी गण भी शामिल हुए, जिनके जिम्मे इसे सफल बनाने का दायित्व था।