मेदिनीनगर। जिले के मोहम्मदगंज-सतबहिनी रेल स्टेशन के बीच रविवार को अप मालगाड़ी (संख्या 60050) कादल गांव के पास डगरा नामक स्थान पर दो हिस्से में बंट गई। खंभा संख्या 341/ 35 से लेकर खंभा संख्या 341/ 37 के बीच अलग हुए दोनों हिस्से खड़े रहे। मालगाड़ी के दोनों हिस्सों को जोड़ने में करीब 35 मिनट लगा, लेकिन इस बीच कादल गांव में समपार फाटक से आवागमन बाधित रहा।
मालगाड़ी के करीब 59 डिब्बों में कोयला भरा था। अंकोरहा स्टेशन स्थित एनटीपीसी में बिजली बनाने के लिये झारखंड के कोयला खदान से आपूर्ति की गई थी। ओवरलोड कोयला भरी मालगाड़ी मोहम्मदगंज-सतबहिनी रेल स्टेशन के बीच दो हिस्से में बंट गई। गार्ड सूर्यमणि, रेल फाटक कर्मी सत्यनारायण कुमार और ग्रामीण रामदेव महतो के संयुक्त प्रयास से अलग हुए डिब्बों को जोड़ने में करीब 35 मिनट लगा। इस बीच कादल गांव में रेल पटरी पर बने समपार फाटक से आवागमन बाधित रहा। साथ ही अप रेल पटरी पर परिचालन पूरी तरह ठप रहा।
इधर, चालक शिवनाथ कुमार ने बताया कि इस रेल खंड के छिपादोहर और कादल गांव के समीप रेल पटरी पर चढ़ान के कारण ओवरलोड कोयला से भरी मालगाड़ी का दो हिस्से में बंट जाना आम बात हैं। चालक, गार्ड, रेल फाटक कर्मी और कादल गांव के ग्रामीणों की सूझ-बूझ से बड़ी रेल दुर्घटना होने से बच गयी।