नई दिल्ली: सार्वजनिक क्षेत्र की बीमा कंपनी भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) में भारत सरकार की सबसे बडी हिस्सेदारी है। इस कंपनी ने कमाई कर के वित्त वर्ष 2022-23 के लिए 1,831.09 करोड़ रुपये का लाभांश का चेक वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को सौंपा।
बताते चलें कि बीते वर्ष जब इसका आईपीओ आया था तक विपक्ष ने मोदी सरकार पर LIC को बर्बाद करने का आरोप लगाया था।
बीमा कंपनी ने जारी बयान में कहा कि एलआईसी के चेयरमैन सिद्धार्थ मोहंती ने वित्तीय सेवा विभाग के अतिरिक्त सचिव एमपी तंगिरला की मौजूदगी में केंद्र सरकार की कंपनी में हिस्सेदारी के एवज में लाभांश का चेक वित्त मंत्री को सौंप दिया है। कंपनी के मुताबिक 22 अगस्त को शेयरधारकों की सालाना बैठक में लाभांश के हिस्से के रूप में चेक सौंपने को मंजूरी दी गई थी।
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LIC की 67 साल का सफर
एलआईसी देश की सबसे बड़ी जीवन बीमा कंपनी है। 1 सितंबर 1956 को इसका गठन हुआ था। 1956 में 5 करोड़ रुपये पूंजी थी और अब 31 मार्च 2023 तक के आंकड़ों के देखें तो LIC का एसेट बेस 45.50 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच चुका है।
साल 1956 में एलआईसी के कॉर्पोरेट ऑफिस के अलावा 5 जोनल ऑफिस, 33 मंडल ऑफिस और 212 ब्रांच ऑफिस थे, वहीं साल 2022 तक एलआईसी 2048 पूरी तरह से कम्प्यूटराइज्ड ब्रांच ऑफिस, 113 डिविजनल ऑफिस, 8 जोनल ऑफिस, 1381 सैटेलाइट ऑफिस के साथ देश के बीमा सेक्टर का लीडर है।