भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंगलवार को मंत्रालय में हुई मंत्रि-परिषद की बैठक में प्रदेश के जिला सहकारी केन्द्रीय बैंकों से संबद्ध प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों (पैक्स) के दो लाख रुपये तक के 11 लाख 19 हजार डिफाल्टर किसानों पर बकाया ब्याज की राशि 2 हजार 123 करोड़ रुपये माफ करने के लिए ब्याज माफी योजना को मंजूरी दी गई। मुख्यमंत्री चौहान की घोषणा “जो किसान ऋण माफी के चक्कर में डिफाल्टर हो गये हैं, उनके ब्याज की राशि सरकार द्वारा भरी जायेगी” के अनुरूप मंत्रि-परिषद द्वारा यह योजना मंजूर की गई। ऐसे डिफॉल्टर किसान, जिन पर प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों (पैक्स) के 31 मार्च, 2023 की स्थिति में मूल एवं ब्याज को मिला कर दो लाख रुपये तक का ऋण बकाया है, उनके ब्याज की भरपाई राज्य शासन द्वारा की जायेगी।
गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि योजना के अनुसार किसान पर अल्पकालीन फसल ऋण एवं मध्यकालीन परिवर्तित ऋण को ब्याज सहित मिला कर 2 लाख रूपये तक का ऋण 31 मार्च, 2023 तक बकाया होना चाहिए। डिफाल्टर किसानों को ब्याज माफी का लाभ लेने के लिये अपनी समिति में आवेदन करना होगा। डिफाल्टर किसानों के ऊपर बकाया ऋण एवं ब्याज आदि के विवरण वाली सूची को बैंक स्तर पर एक पोर्टल से सार्वजनिक किया जायेगा। साथ ही योजना में किसानों को कृषि कार्य के लिए खाद उपलब्ध कराने की विशेष सुविधा दी गयी है। जितनी राशि किसान द्वारा अपने ऋण खाते में नगद जमा की जायेगी, उतनी राशि तक का खाद वे समिति से ऋण के रूप में प्राप्त कर सकेंगे। योजना की अंतिम तिथि 30 नवम्बर, 2023 नियत की गई है। योजना के विस्तृत निर्देश सहकारिता विभाग द्वारा जारी किये जाएंगे।
खण्डवा, छतरपुर और देवास में नवीन अनुविभाग का सृजन
मंत्रि-परिषद ने खंडवा जिले में खालवा, छतरपुर में गौरीहार और देवास में टोंकखुर्द में नवीन अनुविभाग सृजन की स्वीकृति दी। नवीन अनुविभाग खालवा में तहसील खालवा के राजस्व निरीक्षक मण्डल आशपुर के पटवारी हल्का क्रमांक 1 से 6, 8 से 15, 43 से 49,51,52 इस तरह कुल 23 हल्के तथा राजस्व निरीक्षक मण्डल खालवा के पटवारी हल्का क्रमांक 7, 16 से 39 तक कुल 25 हल्के एवं राजस्व निरीक्षक मण्डल रोशनी के पटवारी हल्का क्रमांक 40 से 42, 50, 53 से 71 कुल 23 हल्के, इस प्रकार कुल 71 हल्के समाविष्ट होंगें। खालवा के सृजन के बाद शेष अनुविभाग हरसूद में तहसील हरसूद के राजस्व निरीक्षक मण्डल किल्लौद के पटवारी हल्का क्रमांक 1 से 16 एवं राजस्व निरीक्षक मण्डल हरसूद के पटवारी हल्का क्रमांक 17 से 33 तथा राजस्व निरीक्षक मण्डल छनेरा के पटवारी हल्का क्रमांक 34 से 50 इस प्रकार कुल 50 हल्के समाविष्ट होंगे। अनुविभाग के कुशल संचालन के लिये स्टेनो टायपिस्ट का 1, सहायक ग्रेड-2 के 2, सहायक ग्रेड-3 के 3, वाहन चालक का 1 और भृत्य के 4 कुल 11 पद स्वीकृत किये गये हैं।
जिला छतरपुर में नवीन अनुविभाग गौरीहार में तहसील गौरीहार के सभी पटवारी हल्का क्रमांक 1 से 74 इस प्रकार कुल 74 पटवारी हल्के समाविष्ट होंगे। गौरीहार अनुविभाग के गठन के बाद शेष रहे अनुविभाग लवकुशनगर में तहसील लवकुशनगर के पटवारी हल्का क्रमांक 1 से 28 एवं तहसील चंदला के पटवारी हल्का क्रमांक 1 से 39 तक कुल 67 पटवारी हल्के समाविष्ट होंगे। नवीन अनुविभाग के कुशल संचालन के लिये स्टेनो टायपिस्ट का 1, सहायक ग्रेड-2 के 2, सहायक ग्रेड-3 के 3, वाहन चालक का 1 और भृत्य के 4, इस प्रकार कुल 11 पद स्वीकृत किये गये हैं।
जिला देवास में नवीन अनुविभाग टोंकखुर्द में तहसील टोंकखुर्द के सभी 60 पटवारी हल्के समाविष्ट होगें। नवीन अनुविभाग के गठन के बाद शेष सोनकच्छ अनुविभाग में तहसील सोनकच्छ के सभी 69 पटवारी हल्के समाविष्ट होंगे। अनुविभाग टोंकखुर्द के कुशल संचालन के लिये स्टेनो टायपिस्ट का 1, सहायक ग्रेड-2 के 2, सहायक ग्रेड-3 के 3, वाहन चालक का 1 और भृत्य के 4, इस प्रकार कुल 11 पद स्वीकृत किये गये है।
राजस्व विभाग की वेबजीआईएस 2.0 परियोजना के लिये 129 करोड़ 32 लाख रूपये स्वीकृत
मंत्रि-परिषद ने राजस्व विभाग की वेबजीआईएस 2.0 परियोजना को लागू करने के लिये आगामी 5 वर्षों (2023-2024 से 2027-2028) के लिये तकनीकी और वित्तीय प्रस्ताव राशि 129 करोड़ 32 लाख रूपये (जी.एस.टी. अतिरिक्त) का व्यय किये जाने की स्वीकृति दी।
रीवा हवाई पट्टी को हवाई अड्डे के रूप में विकसित करने के लिये एमओयू का निर्णय
मंत्रि-परिषद द्वारा रीवा हवाई पट्टी को भारत सरकार की रीजनल कनेक्टिविटी योजना में भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण द्वारा हवाई अड्डे के रूप में विकसित करने के लिये प्राधिकरण और राज्य शासन के बीच एम.ओ.यू. निष्पादित करने का निर्णय लिया गया। राज्य शासन द्वारा माँग अनुसार वर्तमान हवाई पट्टी के लिये उपलब्ध शासकीय भूमि एवं ATR-72 (VFR&IFR) टाइप विमान संचालन के लिये अतिरिक्त भूमि अधिगृहित कर आवंटन / उपलब्ध कराने के संबंध में आदेश जारी किये जा चुके हैं। इसके अलावा मंत्रि-परिषद ने लोक सम्पत्ति के निर्वर्तन के संबंध में मंजूरी दी है।